दीवारों में दरारें आना एक आम समस्या है। कुछ मुख्य कारण इसके पीछे हो सकते हैं:

- संरचनात्मक दोष – फर्श का धँसना, फाउंडेशन में कमज़ोरी, ग़लत संरचनात्मक डिज़ाइन आदि से दीवारों पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है जिससे दरारें पड़ सकती हैं।
- कमज़ोर प्लास्टर – अगर प्लास्टर ठीक से न किया गया हो या उसमें पानी चल गया हो तो दरारें पड़ सकती हैं।
- भूकंप – भूकंप से दीवारों पर दबाव पड़ता है जिससे दरारें आ सकती हैं।
- तापमान परिवर्तन – गर्मी और ठंड से दीवारों का प्रसार और संकुचन होता है जिससे दरारें पड़ती हैं।
दीवारों की दरारों को ठीक करने के कुछ उपाय:
- दरार को ब्रश से साफ करें और Epoxy इंजेक्शन लगाएँ।
- दरार को वायर मेश लगाकर भरें और पुनः प्लास्टर करें।
- गंभीर दरारों के लिए रिपेयर मोर्टार से भरपाई करें।
- नींव में सीलैंट इंजेक्शन कर संरचनात्मक दोष दूर करें।
- फ्लेक्सिबल प्लास्टर का इस्तेमाल करें जो प्रसार व संकुचन के प्रति अधिक सहनशील होता है।
दीवारों की ठीक से देखभाल और नियमित मेंटेनेंस से दरारों को रोका जा सकता है। गंभीर समस्याओं के लिए तुरंत एक्सपर्ट की सलाह लें।